देवी दुर्गा कौन हैं?
देवी दुर्गा शक्ति, पराक्रम और रक्षा की अधिष्ठात्री देवी हैं। वे नवदुर्गा के रूप में पूरे ब्रह्मांड की रक्षा करती हैं और भक्तों को भय, दुख, बाधाओं और नकारात्मक शक्तियों से मुक्ति दिलाती हैं। देवी दुर्गा को महिषासुर मर्दिनी भी कहा जाता है, क्योंकि उन्होंने महिषासुर का वध कर धर्म और न्याय की स्थापना की थी।
देवी दुर्गा का स्वरूप
- देवी दुर्गा को दस भुजाओं वाली, सिंह पर सवार और विभिन्न अस्त्र-शस्त्रों से युक्त दिखाया जाता है।
- उनका रंग स्वर्णिम, तेजस्वी और आभायुक्त होता है।
- उनके हाथों में त्रिशूल, तलवार, चक्र, गदा, धनुष, कमल और अभय मुद्रा होती है।
- वे दुष्टों का संहार करने वाली और भक्तों को अभय देने वाली देवी मानी जाती हैं।
देवी दुर्गा का महत्व
- जीवन की सभी बाधाओं और संकटों को दूर करती हैं।
- शत्रु, नकारात्मक ऊर्जा और बुरी शक्तियों से रक्षा करती हैं।
- आत्मबल, साहस और शक्ति प्रदान करती हैं।
- सुख-समृद्धि, शांति और सफलता देती हैं।
- भौतिक और आध्यात्मिक उन्नति में सहायक होती हैं।
देवी दुर्गा की पूजा के लाभ
- भय, शत्रु और नकारात्मक शक्तियों से मुक्ति मिलती है।
- आत्मविश्वास, साहस और पराक्रम बढ़ता है।
- आर्थिक समस्याएँ दूर होती हैं और समृद्धि आती है।
- घर और व्यापार में सुख-शांति बनी रहती है।
- जीवन के हर क्षेत्र में सफलता प्राप्त होती है।
दुर्गा बीसा यंत्र क्या है?
दुर्गा बीसा यंत्र देवी दुर्गा का विशेष शक्ति-सम्पन्न यंत्र है, जो हर प्रकार की बाधाओं, शत्रु, नकारात्मक ऊर्जा, बुरी नजर और दुर्भाग्य से रक्षा करता है। इसे घर, व्यापार स्थल, तिजोरी या पूजा स्थल में रखा जाता है ताकि देवी दुर्गा की कृपा बनी रहे।
दुर्गा बीसा यंत्र के लाभ
- नकारात्मक ऊर्जा और शत्रु बाधाओं से रक्षा करता है।
- कार्यों में सफलता दिलाता है और बाधाओं को दूर करता है।
- आर्थिक समृद्धि और व्यापार में उन्नति देता है।
- मानसिक शांति और आत्मबल को बढ़ाता है।
- घर और परिवार में सुख-शांति बनाए रखता है।
दुर्गा बीसा यंत्र की स्थापना और पूजा विधि
- इसे मंगलवार या शुक्रवार के दिन शुभ मुहूर्त में स्थापित करें।
- यंत्र को गंगाजल से शुद्ध करें और लाल वस्त्र पर रखें।
- यंत्र पर लाल चंदन, अक्षत, लाल पुष्प और धूप-दीप अर्पित करें।
- दुर्गा मंत्र का जाप करें – ॐ ऐं ह्रीं क्लीं चामुण्डायै विच्चे।
- प्रतिदिन इस यंत्र को प्रणाम करें और देवी दुर्गा की आराधना करें।